रविवार, 23 सितंबर 2018

जीवन में लाएगा बदलाव यह दाे अक्षर का शब्द- दर्शना बांठिया

कहते है क्षमा मांगने वाले से बड़ा क्षमा करने वाला होता है।
क्षमा वाणी के दिन हम सब से क्षमा मांगते है ,पर वास्तव में क्षमा क्या है ......इससे ही व्यक्ति अनजान रहता है ।
क्षमा मेरे नजरिए से क्या है :-
क्या है क्षमा......?
किसी दूसरे की गलतियों की लगी धूल को अपने दिल की परत से साफ कर देना...।
या किसी पराये द्वारा भी की गयी भूल को हंस कर टाल देना और उसे भी अपना बना लेना
क्या है क्षमा .......?
अपने मन में किसी कारण वश भरे हुए गुबार को निकाल कर हल्के और आनंदित हो जाना।
या अपने अंदर पैदा हुयी अंहकार की आग को,विनम्रता रुपी जल से धो डालना।।
क्या है क्षमा........?
किसी बड़े द्वारा दिये हुये अपमान के घूंट को ये सोचकर जी जाना कि वो आपसे बडे़ है ,और किसी छोटे द्वारा की गयी उद्दण्डता को नजरअंदाज कर अपने बड़प्पन को साबित करना।।

कहने को तो सिर्फ दो अक्षर का ये शब्द है ,पर अगर इसे गहराई से समझ लिया जाये और जीवन में उतारने का प्रयास कर लिया जाये तो इंसान अपने मनोवैज्ञानिक स्तर को बहुत ऊपर उठा सकता है ,न जाने कितने अपराध होने से पहले ही रूक सकते है,न जाने कितने टूटे रिश्तें फिर से जुड़ सकते है।।
तो आइए इस बार हम सभी से हृदय से वास्तविक क्षमा याचना करते है।

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